रांची | विशेष रिपोर्ट – The Mediawala Express

झारखंड के सरायकेला-खरसावां और ओडिशा की सीमा से सटे सारंडा के जंगलों में शनिवार को नक्सल विरोधी अभियान के दौरान बड़ा हादसा हुआ। सर्च ऑपरेशन के बीच हुए आईईडी विस्फोट में सीआरपीएफ के एएसआई सत्यवान कुमार सिंह शहीद हो गए। यह विस्फोट ओडिशा के सुंदरगढ़ जिले के केबलांग क्षेत्र के बांको रिजर्व फॉरेस्ट में तड़के 4 से 5 बजे के बीच हुआ, जब सुरक्षाबल तलाशी अभियान पर थे।

शहीद एएसआई सत्यवान सिंह उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के निवासी थे और वर्तमान में पश्चिमी सिंहभूम जिले के जराईकेला कैंप में 134वीं बटालियन में तैनात थे। विस्फोट के बाद उन्हें गंभीर हालत में राउरकेला के एक निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।

सर्च ऑपरेशन के दौरान आईईडी विस्फोट

जानकारी के मुताबिक, 12 जून से चल रहे इस अभियान में नक्सलियों द्वारा जंगल में छिपाए गए विस्फोटकों की बरामदगी की कोशिश की जा रही थी। शहीद एएसआई की अगुवाई में जब जवान बांको और सिलकुट्टी के बीच सर्च ऑपरेशन में लगे थे, उसी दौरान टर्निंग पॉइंट पर आईईडी ब्लास्ट हुआ। घायल अवस्था में एएसआई को तत्काल अस्पताल पहुंचाया गया, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका।

विस्फोटक लूटकांड के बाद तेज हुआ अभियान

यह अभियान 27 मई को नक्सलियों द्वारा पांच टन विस्फोटक लूट लिए जाने की घटना के बाद तेज किया गया था। सुरक्षाबलों ने अब तक साढ़े चार टन विस्फोटक जब्त कर लिए हैं और कुछ गिरफ्तारियां भी हुई हैं। चाईबासा, राउरकेला पुलिस, झारखंड जगुआर, कोबरा और सीआरपीएफ के जवान मिलकर इस संयुक्त अभियान को अंजाम दे रहे हैं।

राज्यपाल और मुख्यमंत्री ने दी श्रद्धांजलि

शनिवार को रांची स्थित सीआरपीएफ 133वीं बटालियन के शहीद स्मारक उद्यान में आयोजित श्रद्धांजलि समारोह में राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने शहीद जवान को पुष्पांजलि अर्पित की। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार शहीद के परिवार के साथ खड़ी है और हरसंभव सहायता प्रदान करेगी। उन्होंने यह भी बताया कि नक्सलियों के खिलाफ अभियान में लगातार बड़ी सफलताएं मिल रही हैं और यह अभियान जारी रहेगा।

पार्थिव शरीर को भेजा गया पैतृक गांव

शहीद एएसआई सत्यवान सिंह के पार्थिव शरीर को हेलीकॉप्टर के माध्यम से रांची लाया गया, जहां रिम्स में पोस्टमार्टम के बाद उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। इसके बाद शव को उनके पैतृक गांव भेजा गया।

Share.
Leave A Reply

Exit mobile version