केंद्र सरकार ने कैंसर रोगियों के इलाज को सस्ता बनाने की दिशा में एक अहम कदम उठाया है। राष्ट्रीय फार्मास्युटिकल मूल्य निर्धारण प्राधिकरण (NPPA) ने तीन प्रमुख कैंसररोधी दवाओं की कीमतें घटाने के निर्देश जारी किए हैं, जो भारत में कैंसर पीड़ितों के आर्थिक बोझ को कम करने के उद्देश्य से है।
कौन-कौन सी दवाएं होंगी सस्ती?
केंद्र सरकार द्वारा घोषित इन तीन दवाओं में शामिल हैं:
- ट्रैस्टुजुमैब (Trastuzumab): इस दवा का उपयोग विशेष रूप से स्तन कैंसर के इलाज में होता है।
- ओसिमर्टिनिब (Osimertinib): इसका उपयोग फेफड़ों के कैंसर के उपचार में किया जाता है।
- ड्यूरवालुमैब (Durvalumab): फेफड़ों और पित्त पथ के कैंसर के इलाज के लिए उपयोगी है।
सीमा शुल्क में छूट और GST कटौती
केंद्रीय बजट 2024-25 के अनुसार, इन कैंसर दवाओं पर सीमा शुल्क से छूट और वस्तु एवं सेवा कर (GST) में कटौती की गई है। पहले इन दवाओं पर GST दर 12 प्रतिशत थी, जिसे घटाकर अब 5 प्रतिशत कर दिया गया है। इससे इनकी खुदरा कीमतें (MRP) भी कम होंगी, जिससे मरीजों को आर्थिक राहत मिलेगी।
NPPA का निर्देश और अनुपालन
NPPA ने संबंधित दवा निर्माताओं को एक अधिसूचना जारी करते हुए नए दामों को लागू करने के निर्देश दिए हैं। इसके अनुसार, दवा निर्माता राज्य औषधि नियंत्रकों और विक्रेताओं को मूल्य सूची प्रदान करेंगे, जिसमें कीमतों में किए गए बदलावों की जानकारी दी जाएगी।
सरकार का उद्देश्य
यह पहल केंद्र सरकार की ‘किफायती स्वास्थ्य सेवा’ मुहिम के तहत है, जिससे देश में कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों के उपचार को सस्ता और सुलभ बनाया जा सके। यह कैंसर से पीड़ित व्यक्तियों के लिए न केवल आर्थिक रूप से सहारा बनेगा, बल्कि उनके इलाज के प्रति एक सकारात्मक संदेश भी देगा।
निष्कर्ष
यह निर्णय कैंसर रोगियों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकता है, जिससे उन्हें उपचार की लागत में कमी मिलेगी। यह कदम सरकार की ओर से लोगों को बेहतर और सस्ती स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के प्रति उसकी प्रतिबद्धता को भी दर्शाता है।