The Mediawala Express | श्रीनगर | अपडेटेड: [22 अप्रैल 2025, दोपहर]
जम्मू-कश्मीर के पर्यटन स्थल पहालगाम में सोमवार दोपहर हुए आतंकवादी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। अब तक 27 से अधिक लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है। मृतकों में दो विदेशी नागरिक—एक इजरायली और एक इटली का नागरिक भी शामिल हैं। प्रारंभिक जानकारी के मुताबिक, हमले को चार आतंकवादियों ने अंजाम दिया, जिनमें तीन पाकिस्तानी और एक स्थानीय कश्मीरी बताया जा रहा है।
घटना का विवरण
पहलगाम के बैसरन घाटी क्षेत्र में पर्यटक टट्टू की सवारी और नाश्ता कर रहे थे, तभी सेना की वर्दी में भारी हथियारों से लैस चार आतंकवादी वहां पहुंचे। चश्मदीदों के अनुसार, आतंकियों ने पर्यटकों से मजहब पूछकर उनकी पहचान की और इसके बाद अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। कई पर्यटकों को कलमा पढ़ने के लिए मजबूर किया गया। जिन लोगों ने इंकार किया या पहचान मुस्लिम न होने पर हुई, उन्हें गोली मार दी गई।
हमले के दौरान लगभग 50 राउंड फायरिंग की गई। कई पर्यटकों के कपड़े उतरवाकर खतना की जांच भी की गई और उसके आधार पर लोगों को निशाना बनाया गया। पुलिस को शक है कि इस हमले में स्थानीय सहयोगियों की भूमिका भी रही है।
गृह मंत्री मौके पर, पीएम ने सउदी अरब से लिया अपडेट
गृह मंत्री अमित शाह तत्काल श्रीनगर पहुंच गए हैं। उन्होंने दिल्ली में आईबी प्रमुख, डीजीपी जम्मू-कश्मीर, सेना और सीआरपीएफ के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक आपात बैठक की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, जो इस वक्त सऊदी अरब में हैं, उन्होंने सऊदी से ही अमित शाह को फोन कर तत्काल पहलगाम जाने का निर्देश दिया।
अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया
भारत दौरे पर आए अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वैंस ने इस आतंकी घटना पर दुख व्यक्त करते हुए कहा,
“उषा और मैं पहलगाम में हुए विनाशकारी आतंकवादी हमले के पीड़ितों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करते हैं। यह देश और इसके लोग अत्यंत खूबसूरत हैं। इस भयानक हमले में हमारे विचार और प्रार्थनाएँ पीड़ितों के साथ हैं।”
स्थानीय प्रतिक्रिया और सुरक्षा एजेंसियों की भूमिका
जम्मू-कश्मीर पुलिस ने मोबाइल डंप डेटा की जांच शुरू कर दी है। बताया जा रहा है कि आतंकी एन्क्रिप्टेड ऐप्स के जरिए आपस में संवाद कर रहे थे। सुरक्षा एजेंसियों का अनुमान है कि हमलावर वही ग्रुप है जो डोडा और किश्तवाड़ क्षेत्र में पहले से सक्रिय है।
गुजरात के भावनगर से भी इस हमले में लोगों के घायल होने की सूचना है। डीआईजी गौतम एम. परमार ने बताया कि स्थानीय निवासी विनोदभाई डाभी घायल हुए हैं और उन्हें अनंतनाग मेडिकल अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
राजनीतिक प्रतिक्रिया
कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने हमले की निंदा करते हुए कहा,
“यह समय राजनीति का नहीं है। ऐसे कायराना हमलों से निपटने के लिए सरकार को जो रणनीति चाहिए, विपक्ष उसके साथ खड़ा है।”
विश्लेषण: यह हमला न केवल जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाता है, बल्कि यह दर्शाता है कि आतंकियों का मकसद पर्यटन को नुकसान पहुंचाकर घाटी की अर्थव्यवस्था और सामाजिक सद्भाव को तोड़ना है। ऐसे सुनियोजित हमलों से निपटने के लिए स्थानीय इंटेलिजेंस नेटवर्क को और अधिक मजबूत किए जाने की जरूरत है